
जोधपुर । डिजिटल डेस्क | 3 जुलाई | जोधपुर खंड की जालोर केद्रीय सहकारी बैंक के अंतर्गत संचालित करवाड़ा ग्राम सेवा सहकारी समिति के अध्यक्ष एवं संचालक मण्डल सदस्यों को राजस्थान सहकारी सोसायटी अधिनियम 2001 की धारा 30(1) एवं राजस्थान सहकारी सोसायटी अधिनियम 2003 के नियम 36 के तहत अतिरिक्त रजिस्ट्रार सहकारी समितियां खंड जोधपुर ने प्रबंध निदेशक केंद्रीय सहकारी बैंक जालोर के जरिए नोटिस दिया है। जिसमें बताया गया हैं कि उप रजिस्ट्रार सहकारी समितियां जालोर ने अतिरिक्त रजिस्ट्रार कार्यालय को 15 अप्रैल 2024 को अवगत कराया कि इकाई की करवाडा ग्राम सेवा सहकारी समिति द्वारा समिति के पूर्व व्यवस्थापक देवीसिंह द्वारा राजस्थान उच्च न्यायालय जोधपुर में दायर याचिका पर न्यायालय द्वारा जारी स्थगन आदेश की पालना नहीं की जा रही है। वही, इस संबंध में प्रबंध निदेशक केन्द्रीय सहकारी बैंक जालोर एवं इकाई अधिकारी द्वारा राजस्थान उच्च न्यायालय जोधपुर द्वारा जारी स्थगन आदेश की पालना करने के लिए बार-बार निर्देशित किए जाने के बावजूद भी समिति की प्रबंध कार्यकारिणी द्वारा न्यायालय के आदेश की पालना नहीं हो पाई है। समिति की प्रबंध कार्यकारिणी राजस्थान उच्च न्यायालय के आदेशों की पालना नहीं करने से अपने कर्तव्यों के निर्वहन करने में असफल रही हैं जिससे राजस्थान सहकारी सोसायटी अधिनियम 2001 की धारा 30 (1) के तहत प्रबंधकारिणी भंग कर प्रशासक नियुक्त किए जाने की अनुशंषा की गई है। अब अतिरिक्त रजिस्ट्रार, सहकारी समितियां खंड जोधपुर ने समिति के अध्यक्ष एवं समस्त संचालक मंडल सदस्यो सहित पूर्व व्यवस्थापक को इस प्रकरण की सुनवाई के लिए 9 जुलाई को प्रातः 11.30 बजे अतिरिक्त रजिस्ट्रार सहकारी समितियां खंड जोधपुर कार्यालय में उपस्थित होने के निर्देश दिए गए हैं । अन्यथा स्थिती में एक तरफा कार्यवाही करने की सूचना भी दी है। गौरतलब हैं कि इस प्रकरण में इससे पूर्व भी 11 जून 2024 को नोटिस जारी किया गया था, अब दूसरी बार यह नोटिस जारी हुआ है।
विधानसभा में भी उठ चुका हैं मामला
करवाड़ा ग्राम सेवा सहकारी समिति में गत साल ऋण वितरण एवं प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना में ऋणी कृषक सदस्यों का निर्धारित समय में प्रीमियम राशि का भुगतान बीमा कंपनी को नहीं किए जाने के कारण रानीवाड़ा के तत्कालीन विधायक नारायणसिंह देवल ने विधानसभा के सत्र में तारांकित प्रश्न कर सहकारिता विभाग से जवाब मांगा था, जिसके पश्चात तत्कालीन सहकारिता मंत्री उदयलाल आंजना ने विधानसभा के 15वें सत्र की कार्यवाही के दौरान 2 मार्च 2023 को सदन पटल पर कहा था कि कृषक सदस्यों को फसल बीमा से वंचित रखने के सम्बंध में प्रबंध निदेशक केन्द्रीय सहकारी बैंक जालोर द्वारा कराई गई जांच में समिति के सहायक व्यवस्थापक देवीसिंह एवं समिति अध्यक्ष मिश्रा राम परमार को जिम्मेदार माना गया, जिसके उपरांत, समिति का चार्ज गांग सहकारी समिति के सहायक व्यवस्थापक हरचन कुमार को दे दिया गया, एवं देवीसिंह के विरुद्ध व्यवस्थापकीय सेवा नियम के तहत कार्यवाही करने के लिए सीसीबी के अधिशासी अधिकारी ने एक पत्र लिखा, जिस पत्र पर समिति की निर्वाचित प्रबंध कार्यकारिणी ने एक तरफा अनुशंसा कर देवीसिंह की नियम विरुद्ध सेवा समाप्त करने पर देवीसिंह ने इस मामले को लेकर राजस्थान उच्च न्यायालय में रिट पिटिशन अधिवक्ता हरीश पुरोहित के जरिए दायर की, जिस पर राजस्थान उच्च न्यायालय ने 16 फरवरी 2023 को सुनवाई करते हुए समिति द्वारा की गई कार्यवाही पर स्थगन आदेश दे दिया था ।