सार
Rajasthan : FIG पोर्टल में तकनीकी समस्याओं के चलते पिछले दस दिनों से केंद्रीय सहकारी बैंक की ओर ताक रही ग्राम सेवा सहकारी समितियों और CCB प्रबंध निदेशक निरंतर राजस्थान राज्य सहकारी बैंक के प्रबंध निदेशक को पत्र लिखकर FIG पोर्टल में आ रही तकनीकी समस्याओं से अवगत करा रहें है। जबकि दिन-प्रतिदिन समस्या का समाधान होने के बजाए नया Error आ जाता है।
विस्तार
जयपुर । डिजिटल डेस्क | 17 दिसम्बर | प्रदेश में ग्राम सेवा सहकारी समितियों के माध्यम से इस वित्तीय वर्ष के रबी सीजन में सरकार की ब्याज मुक्त योजना FIG पोर्टल् की तकनीकी समस्या में अटक कर रह गई हैं। सरकार ने इस वित्तीय वर्ष में 23 हजार करोड़ के ब्याज मुक्त अल्पकालीन फसली ऋण वितरण का लक्ष्य आंवटित किया हैं, जिसमें से रबी सीजन में 12 हजार करोड़ का लक्ष्य निर्धारित हैं, जबकि वर्तमान में महज 20 फिसदी तक ही ऋण वितरित हुआ है। वही रबी सीजन की बुवाई होने के बाद भी धरतीपुत्रों को सीजनली ऋण नहीं मिलने का कारण FIG पोर्टल में अनेक प्रकार की तकनीकी समस्या आना बताया जा रहा है।
हालांकि सहकारी साख आंदोलन के त्रि-स्तरीय ढांचे की शीर्ष संस्था राजस्थान राज्य सहकारी बैंक (RSCB) द्वारा अल्कालीन फसली ऋण वितरण एवं वसूली के लिए वर्ष 2019 में FIG पोर्टल विकसित किया गया था, इसको लागू करते समय रजिस्ट्रार सहकारी समितियां जयपुर कार्यालय में अक्ल के अंधे अधिकारियों ने बायोमेट्रिक पॉलिसी बनाकर लंबी लाइने लिखकर इस पोर्टल का जो गुणगान किया था । वह आज के समय में इस पोर्टल की नाकामी सोसायटियों के बाहर ठंड के मौसम मे ठिठुरते किसानों की लंबी लाइने स्वतः बया कर रही हैं ।
हालात यह हैं कि सोसायटी द्वारा जब किसी किसान की ऋण वसूली करने के लिए जमा की एन्ट्री इस FIG पोर्टल पर की जाती है तो डिपोजिट Transaction Failed Error के अलावा किसी किसान का लॉन Approval के लिए फिंगर लगाने के दौरान screen blank हो जाती है। जिसमें UIDAI Alert message to customer लिखा आता है एवं Accept option पर क्लिक करने पर भी प्रक्रिया आगे नहीं बढ़ती है। किसी कृषक को ऋण वितरण के लिए विड्रॉल की एन्ट्री के दौरान विड्रॉल Transaction Failed Error वही विड्रॉल करने पर Transaction Timeout Error सहित Error in Authentication with UIDAL सहित अनेक प्रकार की समस्याएं ऋण वितरण एवं वसूली के समय सोसायटी के कंप्यूटर एवं लेपटॉप पर प्रदर्शित हो रही है।
नियंत्रण कक्ष डूबा निराशा में
सहकारी ऋण पोर्टल पर पंजीयन एवं ऋण वितरण प्रकिया से संबंधित तकनीकी समस्याओं के निराकरण के लिए महाप्रबन्धक (ईडीपी) को नोड़ल अधिकारी बनाया था । इसके अलावा बैंकिंग से संबंधित कार्य के लिए सहायक नोडल अधिकारी राजस्थान राज्य सहकारी बैंक के उप महाप्रबन्धक को वही तकनीकी समस्या निराकरण के लिए वरिष्ठ प्रबन्धक (ईडीपी) को सहायक नोडल अधिकारी बनाकर नियंत्रण कक्ष की स्थापना की थी । जिसमें पैक्स, ई-मित्र एवं राज्य के केंन्द्रीय सहकारी बैंकों से प्राप्त होने वाली समस्याओं को संग्रहित कर नोडल अधिकारी के माध्यम से संबंधित अनुभागों से विचार-विमर्श उपरान्त इनका निवारण करने के निर्देश थे । जबकि वर्तमान समय में शीर्ष बैंक का नियंत्रण कक्ष भी निराशा में डूबा हुआ है।
ब्याज अनुदान को भूल गई पैक्स
इस पोर्टल को लागू करते समय सबसे बड़ा मुद्दा नाबार्ड की पुनर्भरण राशि एवं प्राथमिक कृषि ऋणदात्री सहकारी समितियों को समयानुसार ब्याज मुक्त योजना में देय ब्याज अनुदान का भुगतान करना था । जिसको लेकर पिछले दो साल से प्राथमिक कृषि ऋणदात्री सहकारी समितियों में समय पर प्राप्त वसूली के लिए देय ब्याज अनुदान भी राजस्थान राज्य सहकारी बैंक द्वारा मनमाफिक जारी किया जा रहा है। जिससे इस पोर्टल की वजह से कई पैक्स तो ब्याज अनुदान की राशि के चक्कर में बंद होने की कगार पर आकर खड़ी हो गई है।
“हमारी कोई सुनने वाला नहीं है”
FIG पोर्टल में आ रही समस्या के संबंध में “मारवाड़ का मित्र” द्वारा अनेक प्राथमिक कृषि ऋणदात्री सहकारी समितियों के व्यवस्थापकों से बात की गई, तो उनका एक ही कथन था कि यह हमारी बदकिस्मती कि हम सोसायटी मैनेजर हैं, पिछले दस दिनों से इस पोर्टल ने हमारी हालात खराब करके रख दी है। सोसायटी के आगे इस ठंड के मौसम में सुबह के समय आया किसान शाम तक भूखा प्यासा खड़ा रहता है। न तो उस किसान को ऋण वितरित हो पाता और न ही उस किसान की वसूली हो पाती हैं, वही कई सोसायटी व्यवस्थापकों ने कहा कि सीजन के समय में अन्नदाता को इतना परेशान कर इस तकनीकी समस्याओं से ग्रसित पोर्टल ने इस वर्ष तो नहीं चलने के सारे रिकॉर्ड ध्वस्त कर दिए है। “हमारी कोई सुनने वाला नहीं है”