जयपुर, 15 फरवरी। सहकारिता मंत्री श्री उदयलाल आंजना ने सोमवार को विधानसभा में आश्वस्त किया कि किसानों को ऋण वितरण करने की तारीखों में संशोधन कर 15 जुलाई कर दिया जाएगा, क्योंकि यही समय फसल बोने का होता है और इस समय किसानों को ऋण की आवश्यकता भी रहती है। श्री आंजना प्रश्नकाल में विधायकों द्वारा इस संबंध में पूछे गये पूरक प्रश्नों के जवाब में कहा कि यह सही है बीमा होने में विलम्ब होता है और 15 जुलाई से पहले ऋण वितरण कर दिया जाये तो बीमा करने में भी ठीक रहता है। उन्होंने कहा कि ऋण वितरण की पुरानी परिपाटी 31 दिसम्बर और अगस्त माह शुरू से चली आ रही है और किसानों के हित में इसमें संशोधन की आवश्यकता हुई तो संशोधन किया जायेगा। उन्होंने स्वीकार किया कि बीमा करने में किसी न किसी कारण से विलम्ब हुआ है जिसके लिए अतिरिक्त रजिस्ट्रार की अध्यक्षता में जांच कराई जाएगी और जांच रिपोर्ट आने के बाद दोषी अधिकारियों के विरूद्ध सख्त कार्यवाही की जाएगी। उन्होंने बताया कि इस संबंध में विसंगती प्राप्त हुई है, विशेषकर झालावाड से प्राप्त शिकायत की जांच करवाई जाएगी। इससे पहले विधायक श्री ज्ञानचंद पारख के मूल प्रश्न के लिखित जवाब में श्री आंजना ने बताया कि रबी फसल हेतु 1 सिंतबर से 31 मार्च तक एवं खरीफ फसल हेतु 1 अप्रैल से 31 अगस्त तक किसानों को अल्पकालीन फसली ऋण केन्द्रीय सहकारी बैंकों के माध्यम से वितरित किये जाने का प्रावधान है। उन्होंने बताया कि पाली जिले में पाली केन्द्रीय सहकारी बैंक द्वारा वर्ष 2016 से 2020 तक इन फसलों हेतु इस अवधि में ऋण दिया गया। श्री आंजना ने बताया कि राज्य में खरीफ, 2019 से सहकारी फसली ऋण ऑनलाईन पंजीयन एवं वितरण योजना, 2019 आरंभ की गई जिसके कारण ऋण वितरण में आंशिक देरी हुई एवं योजनान्तर्गत जुलाई, 2019 से ऋण वितरण प्रारंभ हुआ। वर्ष 2020-21 में वित्तीय वर्ष के प्रारंभ से ही ऋण वितरण प्रारंभ कर दिया गया।